प्राकृतिक कपूर कैम्फर ट्री की छाल से तैयार किया जाता है। इसमें कार्बन और हाइड्रोजन की मात्रा अत्यधिक होती है, जिससे इसका ज्वलन तापमान बहुत कम होता है।
जब कपूर को गर्म किया जाता है तो यह सीधे ठोस से गैस में बदल जाता है — यानी यह उर्ध्वपातन (sublimation) करता है। इसकी वाष्प हवा में तेजी से फैल जाती है और ऑक्सीजन के संपर्क में आते ही तुरंत आग पकड़ लेती है।
इसी कारण कपूर बिना बाती या तेल के भी आसानी से जल उठता है और कुछ ही क्षणों में पूरी तरह जलकर समाप्त हो जाता है।
